Jeevan Ke Safar Mein Raahi Lyrics- Kishore Kumar, Lata Mangeshkar, Munimji
Title : जीवन के सफ़र में राही
Movie/Album: मुनीमजी (1954)
Music By: एस.डी.बर्मन
Lyrics By: साहिर लुधियानवी
Performed By: किशोर कुमार, लता मंगेशकर
जीवन के सफ़र में राही, मिलते हैं बिछड़ जाने को
और दे जाते हैं यादें, तन्हाई में तड़पाने को
ये रूप की दौलत वाले, कब सुनते हैं दिल के नाले
तक़दीर न बस में डाले, इनके किसी दीवाने को
जीवन के सफ़र में राही…
जो इनकी नज़र से खेले, दुख पाए, मुसीबत झेले
फिरते हैं ये सब अलबेले, दिल लेके मुकर जाने को
जीवन के सफ़र में राही…
दिल लेके दगा देते हैं, इक रोग लगा देते हैं
हँस-हँस के जला देते हैं, ये हुस्न के परवाने को
जीवन के सफ़र में राही…
अब साथ न गुज़रेंगे हम, लेकिन ये फ़िज़ा रातों की
दोहराया करेगी हरदम, इस प्यार के अफ़साने को
जीवन के सफ़र में राही…
रो रो के इन्हीं राहों में, खोना पड़ा इक अपने को
हँस-हँस के इन्हीं राहों में, अपनाया था बेगाने को
जीवन के सफ़र में राही…
तुम अपनी नयी दुनिया में, खो जाओ पराये बनकर
तो हम जी लेंगे, मरने की सज़ा पाने को
जीवन के सफ़र में राही…