ज्योत जली रे माँ की आए नवराते
हुई भीड़ अपार देखो मैया कतार
बोलो जयकारा जयकारा
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते।।
फिल्मी तर्ज भजन = कौन दिशा में लेके चला रे।
ध्यानु भगत ने महिमा गाई
मैया से वरदान मिला
सर को माँ की भेंट चढ़ाया
भक्तो में सम्मान मिला
जिसको माँ की ममता मिली रे
जिसको माँ की ममता मिली रे
उसको सारा जहान मिला
पौड़ी पौड़ी चढ़ते चलो
मैया जी को ध्याते
पौड़ी पौड़ी चढ़ते चलो
मैया जी को ध्याते
हुई भीड़ अपार देखो मैया कतार
बोलो जयकारा जयकारा
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते।।
श्रीधर ने भी सपने में ही
माँ का दर्शन पाया रे
कन्या रूप में आ गई मैया
खुशियों से हर्षाया रे
माँ ने सदा ही निज भक्तो पे
माँ ने सदा ही निज भक्तो पे
अपना प्यार लुटाया रे
शेरावाली ख़ुश होती दया बरसाती
शेरावाली ख़ुश होती दया बरसाती
हुई भीड़ अपार देखो मैया कतार
बोलो जयकारा जयकारा
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते।।
‘चोखानी’ ने अर्जी लगाई
जगदम्बे की चौखट पर
सुनवाई करने मैया ने
बिगड़ी बना दी करके मेहर
‘सरिता’ माँ की भेंटे गाती
‘सरिता’ माँ की भेंटे गाती
उसकी पड़ेगी तुम पर नजर
भक्तो चलो माँ के द्वारे भजन सुनाते
भक्तो चलो माँ के द्वारे भजन सुनाते
हुई भीड़ अपार देखो मैया कतार
बोलो जयकारा जयकारा
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते।।
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते
हुई भीड़ अपार देखो मैया कतार
बोलो जयकारा जयकारा
ज्योत जली रे माँ की आए नवराते।।
गायक – Sarita Ojha
Lyrics : Pramod Chokhani