दर दिवार दर्पण भयो, जित देखू तित तोय ।
दर दिवार दर्पण भयो, जित देखू तित तोय । कंकर पत्थर ठीकरी, सब भयो आरसी मोय ॥ आवे ना जावे, मरे नहीं जन्मे, सोई निज पीव हमारा हो । ना प्रथम जननी ने जनमो, ना कोई सिर जन हारा हो ॥ आवे ना जावे, मरे नहीं जन्मे सोई निज पीव हमारा हो… साधनसिद्ध मुनि ना …