घट घट में उजियारा साधु भाई भजन लिरिक्स

घट घट में उजियारा साधु भाई भजन लिरिक्स
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घट घट में उजियारा

घट घट में उजियारा साधु भाई ,
घट घट में उजियारा रे।

पास बसे और नजर ना आवे ,
बाहर फिरत गिंवारा रे।
बिन सतगुरु के भेद ना जाणे ,
कोटि जतन कर हारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,
घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

आसन पद्म बांध कर बैठो ,
उलट नयन का तारा रे।
त्रिकूट महल में ध्यान लगावो ,
देखो खेल अपारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,
घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

नहीं सूरज नहीं चाँद चांदनी ,
नहीं बिजली चमकारा रे।
जग मग जोट जगे निशिवासर ,
पार ब्रह्मा विस्तारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,
घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

जो योगी जान ध्यान लगावे ,
उघडे मोक्ष द्वारा रे।
ब्रह्मानंद सुनो रे अवधू ,
वो है देश हमारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,
घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

marwadi chetavni bhajan lyrics

ghat ghat me ujiyara sadhu bhai

ghat ghat me ujiyara sadhu bhai,
ghat hat me ujiyara re.

pas base or najar na aave,
bahar firat ginwara re.
bin satguru ke bhed na jane,
koti jatan kar hara re.
ghat ghat me ujiyara sadhu bhai,
ghat hat me ujiyara re.

aasan padm bandh kar baitho,
ulat nayan ka tara re.
trikut mahal me dhyan lagavo,
dekho khel apara re.
ghat ghat me ujiyara sadhu bhai,
ghat hat me ujiyara re.

nhi suraj nhi chand chandani,
nhi bijali chamkara re.
jag mag jot jage nishivasar,
par brahma vistara re.
ghat ghat me ujiyara sadhu bhai,
ghat hat me ujiyara re.

jo yogi jan dhyan lagave,
ughade moksh dwara re.
brahmanand suno re avdhu,
wo hai desh hamara re.
ghat ghat me ujiyara sadhu bhai,
ghat hat me ujiyara re.

देसी चेतावनी भजन लिरिक्स

घट घट में उजियारा साधु भाई

घट घट में उजियारा साधु भाई ,घट घट में उजियारा रे।

पास बसे और नजर ना आवे ,बाहर फिरत गिंवारा रे।
बिन सतगुरु के भेद ना जाणे ,कोटि जतन कर हारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

आसन पद्म बांध कर बैठो ,उलट नयन का तारा रे।
त्रिकूट महल में ध्यान लगावो ,देखो खेल अपारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

नहीं सूरज नहीं चाँद चांदनी ,नहीं बिजली चमकारा रे।
जग मग जोट जगे निशिवासर ,पार ब्रह्मा विस्तारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

जो योगी जान ध्यान लगावे ,उघडे मोक्ष द्वारा रे।
ब्रह्मानंद सुनो रे अवधू ,वो है देश हमारा रे।
घट घट में उजियारा साधु भाई ,घट घट में उजियारा रे। टेर। ….

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shri maniram ji ka bhajan

Bhajan / Geet(भजन ) == घट घट में उजियारा रे
Bhajan Singer/गायक = श्री मनीराम जी
लेबल:- राजस्थानी भजन

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